MATA CHINTPURNI CHAITRA NAVRATRI MELA
माता चिंतपूर्णी चैत्र नवरात्रि मेला 2024
9 APRIL - 17 APRIL
माता चिंतपूर्णी मंदिर में प्रतिवर्ष चैत्र नवरात्रि में मेला आयोजित किया जाता है। 2024 में यह मेला चैत्र शुक्ल प्रतिपदा 9 अप्रैल से आरंभ हो गया है और 17 अप्रैल तक चलेगा।
मंदिर परिसर को सुंदर फूलों से सजाया जाता है। मां चिंतपूर्णी की विशेष पूजा अर्चना की जाती है। माता के भक्त दूर-दूर से मां के दर्शन के लिए पहुंचते हैं। सुंदर फूलों से माता चिंतपूर्णी मंदिर के प्रवेश द्वार, गर्भ गृह और मंदिर परिसर को बहुत ही आकर्षक ढंग से सजाया जाता है।
स्थानीय लोग माता के मेले को माता दा मेला कह कर पुकारते हैं। माता चिंतपूर्णी अपने भक्तों की मनोकामनाएं पूर्ण करती है और उनकी चिंताओं को हरती है। माता चिंतपूर्णी धाम हिमाचल प्रदेश के ऊना जिले में स्थित है। चिंतपूर्णी धाम शक्तिपीठ है मान्यता के अनुसार जहां पर मां सती के चरण गिरे थे। माता सती ने अपने पिता राजा दक्ष के यज्ञ में अपनी देह का त्याग कर दिया था।
भगवान शिव को जब माता सती के देह त्याग का पता चला तो वहां पहुंच कर सती के शरीर को बाहर निकाल कर तांडव करने लगे तो सृष्टि को प्रलय से बचाने के लिए भगवान विष्णु अपने सुदर्शन चक्र से सती के शरीर को 51 हिस्सों में बांट दिया।
यहां यहां माता सती के शरीर के भाग गिरे वहां शक्तिपीठ बन गई। चिंतपूर्णी में माता सती के चरण गिरे थे।
ऐसा माना जाता है कि चिंतपूर्णी मंदिर की रक्षा भगवान शिव स्वयं करते हैं। मंदिर की चारों दिशाओं में भगवान शिव के मंदिर हैं।
पूर्व में महाकालेश्वर मंदिर
पश्चिम में नारायण महादेव मंदिर
उत्तर में मुचकुंद महादेव मंदिर
दक्षिण में शिव बाड़ी मंदिर
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